VIP कल्चर में कैद सनातन की सुनामी: धीरेंद्र शास्त्री की कथा में नेताओ का फोटो सेशन, मंदिर के पुजारी मंच से दूर

Bhopal Samachar

ललित मुदगल @ शिवपुरी। शिवपुरी शहर मे बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री की भागवत कथा का आयोजन चल रहा है। इस कथा मे श्रद्धा समर्पण  से दूर होकर राजनीति की हवा मे कैद हो गई। सनातन के ब्रांड पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री के पास आम सनातन के सेवादार गायब रहे,मंच पर वीईवी कल्चर प्रतिदिन देखा जा रहा है। कथा मे सिंधिया विरोधी गुट की दूरी के बाद अचानक  आयोजन कर्ता का सिंधिया के नाम पर ताली बजवाना कथा का पूर्ण रूपेण राजनीति करण हो गया।

पंडित धीरेन्द्र शास्त्री वर्तमान समय में देश मे सबसे अधिक ट्रेडिंग मे चलने वाले कथावाचक है इसके अतिरिक्त देश का हिंदू राष्ट्र घोषित करवाने के लिए उनकी पदयात्रा की चर्चा भी है। पंडित जी के पीछे लाखों लोग सनातन की रक्षा के लिए चल देते है उनकी एक झलक पाने के लिए लोग घंटों खडे रहते है। कुल मिलाकर देश में सबसे अधिक लोकप्रिय जनप्रिय और आदरणीय व्यक्ति है,सनातन की सुनामी है पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री,लेकिन शिवपुरी शहर में चल रही कथा में पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री की कथा में दिल से श्रवण करने आए श्रोता उनसे दूर है।

VIP कल्चर मंच पर, रसपान करने आए सनातन प्रेमी को दर्शन नहीं
इस कथा में व्हीआईपी कल्चर का मंच पर अधिक गहरा प्रभाव देखा जा रहा है। मंच पर नेता और शहर के गणमान्य नागरिक फोटो सेशन करते हुए देखा जा रहा है,यह लोग फोटो सेशन कराने के बाद चलते दिख रहे है। इनमे से कुछ ही लोग पूरी कथा का श्रवण कर रहे है बाकी फोटो सेशन के लिए आ रहे है।

सनातन का झंडा बुलंद करने वाले मंदिरों के पुजारी गायब
पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री सनातन के ब्रांड एंबेसडर है,वह धर्मप्रेमी लोगों में ऊर्जा भर देते है लेकिन शिवपुरी सहित अंचल के मंदिरों में सुबह 5 बजे प्रतिदिन नहाकर भगवान की पूजा करने वाला एक आम पुजारी इस कथा के मंच से गायब है,यह वह मंदिर का पुजारी है जो आप लोगो के भगवान को सुबह स्नान कराकर तैयार करता है। अपने ठाकुरजी को भोग प्रसादी लगाता है। ठाकुर जी की नित्य सेवा करता है,ऐसे पुजारियो को इस मंच से दूर रखा गया है। यह वह पुजारी है जो सनातन की पहली मंदिर की घंटी प्रतिदिन अलसुबह बजाते है।

इस श्रीमद् भागवत कथा महा ज्ञान महायज्ञ मे आम मंदिरों के पुजारियों को उस तरह आमंत्रित नही किया गया जिस तरह शहर के वीआईपी लोगों को कार्ड  बांटकर आमंत्रित किया उन्हें वीआईपी पास दिए गए है यह शहर मे चर्चा का विषय है,शिवपुरी के मंदिरों के पुजारियो के साथ पंडित धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री के साथ संवाद आयोजन का कोई कार्यक्रम की रूपरेखा तैयार की गई,यह भी सत्य है कि लाखो लोग इस कथा में प्रतिदिन आ रहे है हर व्यक्ति का मिलना संभव नहीं है लेकिन इस कथा में शहर के मंदिरो की पुजारियो के लिए विशेष प्रबंध करना था। उनको मंच पर सम्मानित करवाना था,क्योंकि वह हमारे ठाकुर जी सेवा करते है और उनके द्वारा सजाए और सांवरे ठाकुर जी से प्रतिदिन जाकर प्रार्थना करते है। सनातन की शुरुआत हमारे मंदिरों से ही होती है।

अब कैसे हुआ राजनीतिकरण,यह भी समझे
बागेश्वर धाम के प. धीरेन्द्र शास्त्री के साथ सिंधिया का फोटो प्रमुख रूप से मुद्रित था। स्थानीय राजनीतिक समीक्षक बताते है कि कुछ समूहों ने इस बात को हवा दी कि यह कार्यक्रम सिंधिया समर्थक शो की तरह प्रस्तुत किया जा रहा है। इसके साथ ही विगत दिवस कथा स्थल पर अचानक से वीरेंद्र रघुवंशी की बढ़ी हुई सक्रियता ने और भी संदेह बढ़ा दिया।

रघुवशी, जो लंबे समय से सिंधिया के कट्टर विरोधी माने जाते रहे है, उन्हें आयोजन मे बढ़ चढ़कर अपनी धर्म पत्नी विभा रघुवंशी के साथ  देखा गया,वही आरती में उनके साथ पूर्व सांसद केपी यादव भी नजर आए। दोनों के वीडियो सोशल मीडिया पर से प्रसारित किए गए जिससे वातावरण और अधिक राजनीतिक हो उठा। यह दृश्य देखकर कई लोगों ने मन ही मन निष्कर्ष निकाल लिया कि स्युवशी इस पूरे आयोजन व केंद्र में है। मंगलवार को मंच पर अचानक स्थिति बदल गई। जब हजारों की भीड़ के बीच कथा आयोजन कपिल गुप्ता ने माइक संभाला और सीधे ज्योतिरादित्य सिंधिया के नाम पर तालियाँ बजवाने की अपील की, तो पूरा पंडाल तालियों की उठा। वही इस कार्यक्रम के लिए क्षेत्रीय सांसद और देश के केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया बागेश्वर धाम की कथा की 29 नबंवर को आ रहे है। सिंधिया के तक कार्यक्रम के अनुसार वह 15 मिनट इस कार्यक्रम में रूकेगें।