शिवपुरी। शहर सहित जिले भर में इन दिनों बीएलओ घर-घर जाकर SIR सर्वे का कार्य कर रहे हैं। धरातल पर तमाम विपरीत परिस्थितियों के बीच जानकारी के अभाव के कारण फार्म अमान्य करने का कार्य कई-कई बार प्रतीत हो रहा है जिसे लेकर कर्मचारी व शिक्षक संगठनों ने नाराज़गी ज़ाहिर की है।
हालात यह है कि बीएलओ के लिए सिर दर्द बने SIR सर्वे के बीच जिले मे तैनात सौ से अधिक बीएलओ को दो वेतन वेतनवृद्धि रोकने से लेकर पुलिस प्राथमिकी दर्ज करने तक की कार्रवाई के नोटिस जारी किए गए हैं।
15 की दोपहर की ट्रेनिंग, 16 को सुबह थमाएँ नोटिस:
प्रशासन एसआईआईआर को लेकर किस कदर तंग कर रहा है, इसकी नजीर हाल ही में सामने आई है। जब शिवपुरी विधानसभा क्षेत्र के 260 बीएलओ को फार्म अमान्य करने की ट्रेनिंग 15 नवंबर को दोपहर दो बजे दी गई। ट्रेनिंग के बाद बीएलओ ने फार्म अमान्य कर दिया, बावजूद इसके, शिवपुरी कलेक्टर के माध्यम से 25 से अधिक बीएलओ को ऑनलाइन कार्य शून्य होने का हवाला देकर दो-दो वेतनवृद्धि असंचयी प्रभाव से रोके जाने का नोटिस जारी कर दिया है।
बीएलओ पर सिर्फ विभागीय तौर पर पर वेतनवृद्धि और अनुशासनात्मक कार्रवाई का ही दबाव नहीं दिया जा रहा, बल्कि, पुलिस प्राथमिकी दर्ज करने तक की कार्रवाई के नोटिस थमाए जा रहे हैं। 20 नवंबर को शिवपुरी एसडीएम ने 7 बीएलओ को ऐसा ही एक नोटिस जारी किया है, जिसमें उल्लेख है कि, बीएलओ एप पर गणना पत्रक ऑनलाइन प्रगति कम होने का उल्लेख कर रिप्रेंटेशन ऑफ द पीपल एक्ट 1950 की धारा 13 सीसी के हवाले से पुलिस प्राथमिकी दर्ज कराते हुए अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का चेतावनी पत्र जारी किया गया है।
जिन बीएलओ को नोटिस दिए गए हैं उनमें मतदान क्रमांक-3 के प्रशांत भदौरिया, मतदान क्रमांक-35 के रोहित खेमारिया, मतदान क्रमांक-66 के रामसिंह रावत, मतदान क्रमांक-105 के गौरव शर्मा, मतदान क्रमांक-216 के संतोष शर्मा, मतदान क्रमांक-242 के कैलाश लोधी व मतदान क्रमांक-287 के वीरेंद्र सिंह जाटव के नाम शामिल हैं।
शहर में गांव से ज्यादा परेशानी
बीएलओ के कार्य में लगे शिक्षकों व अन्य कर्मचारियों की मानें तो, एसआईआईआर का कार्य शहर में गांव से ज़्यादा व्यावहारिक परेशानियां सामने आ रही है। शहर के मतदान केंद्र के क्षेत्र विस्तृत है और अधिकांश लोग ऐसे है जो बाहर से यहां आकर बसे है या उनके घ्ज्ञर की महिलाएं दूसरे जिले व राज्यो की है। जिन्हें 2003 मे उनके अथवा स्वजनों के पोलिंग क्रमांक की जानकारी तक नहीं है,जिससे कार्य की प्रगति मे बाधा आ रही है। इसके अलावा शादियो के सीजन के कारण मतदाता भी घर से गायब है इस कारण बीएलओ अपना कार्य समय पर पूर्ण नहीं कर पा रहे है।
इनका कहना हैं
जिले में डेढ हजार बीएलओ बनाए गए है और सभी पूरे मनोयोग से कार्य कर रहे है,शहरी क्षेत्रो व कुछ गावं में अपेक्षित जानकारी उपलब्ध न कराने से कार्य की प्रगति पर प्रभाव पड रहा है। फिर भी सभी बीएलओ लगातार प्रयास कर रहे है इसके बावजूद प्रशासन के द्वारा वेतनवृद्धि और पुलिस की कार्यवाही जैसे नोटिस देकर मानसिक रूप से परेशान कर रहे है। ऐसे मे प्रशासन सहयोगात्मक रवैया रखे,अन्यथा कार्रवाई के दबाव से कोई अनहोनी घटना हो गई तो जिम्मेदार कौन होगा।
स्नेह रघुवंशी जिलाध्यक्ष राज्य शिक्षक संघ शिवपुरी