बदरवास। नगर के रेलवे स्टेशन पर प्लेटफार्म के विस्तार के उद्देश्य से नया प्लेटफार्म बनाया जा रहा है जिसमें घटिया सामग्री का उपयोग किया जा रहा है इसमें मानकों का भी ध्यान नहीं दिया जा रहा। प्लेटफार्म में इस्तेमाल होने वाली सामग्री भी काफी हल्के स्तर की उपयोग होने से निर्माण के समय ही ये सामग्री टूट फूट हो रही है। सीमेंट के ब्लॉक बेहद हल्के स्तर के लगाए गए हैं को कि छतिग्रस्त हो रहे हैं। सीमेंट ब्लॉक भी बेतरतीब ऊंचे नीचे लगाए जा रहे हैं जिन पर यात्रियों का ठोकर खाकर गिरना निश्चित है और सीमेंट का भी प्रयोग कम मात्रा में करने से यह जल्दी ही उखड़ेंगे और अभी से ये खाली होने से बजने और हिलने लगे हैं। पानी का छिड़काव भी प्लेटफार्म में न के बराबर किया गया है इससे इसकी क्वालिटी कमजोर और खराब हो गई है।
स्टेशन के शौचालय और टॉयलेट रहते हैं बंद
रेलवे स्टेशन पर शौचालय और टॉयलेट पर हमेशा ताले लटके रहते हैं जिससे यात्रियों को काफी समस्या आती है। बदरवास रेलवे स्टेशन पर यात्रियों के लिए शौचालय और टॉयलेट बने हैं साथ ही दिव्यांगों के लिए भी टॉयलेट बना हुआ है लेकिन इन पर हमेशा ही ताला लगा रहता है और यात्री इनका उपयोग नहीं कर पाते हैं।
स्टेशन पर आए यात्री जब शौचालय या टॉयलेट की आवश्यकता महसूस करते हैं और जब इन तक वो पहुंचते हैं तो दरवाजे पर लटकते हुए ताले उनका स्वागत करते हुए मिलते हैं।फलस्वरूप लोगों को खुले में मल मूत्र विसर्जन करना पड़ता है।सबसे अधिक समस्या महिला यात्रियों को आती है जो इन टॉयलेट का उपयोग इनके खुले न होने कर कारण नहीं कर पाती हैं।
रात में प्लेटफार्म पर रहता है असामाजिक तत्वों का जमावड़ा
बदरवास के रेलवे स्टेशन पर अंधेरा होते ही असामाजिक तत्वों और शराबियों का जमावड़ा लग जाता है चूंकि स्टेशन नगर से बाहर एकांत में है और असामाजिक तत्वों को ये जगह सुरक्षित लगती है और शाम होते ही शराबियों का जमावड़ा स्टेशन प्लेटफार्म और खाली मैदान में हो जाता है। इनके द्वारा कांच की बोतलें भी परिसर में फोड़ दी जाती हैं जिनसे कई बार यात्री चोटिल हो जाते हैं। शाम को इन असमाजिक तत्वों के जमावड़े से यात्री और संभ्रांत नागरिक भयभीत रहते हैं।
क्या कहते है जिम्मेदार
अभी नल फिटिंग एवं लाइट व्यवस्था कार्य ना होने के कारण शौचालय बंद किया है जैसे ही ट्रेन आती है तो खोल देते है एव शाम के समय आसामाजिक तत्व आते है और तोड़फोड़ कर देते है इसीलिए ताला लगा देते है वैसे निर्माण भी अधूरा है अगर किसी यात्री को इमरजेंसी आवश्यकता या जरूरत पड़ती है तो वेटिंग रूम या जो शौचालय है उसकी चाबी देकर उसने उपयोग करा देते हैं अभी ठेकेदारों के द्वारा कार्य लेटलतीफी होने के कारण यह अवस्था बिगड़ी है
महेंद्र दुबे,सहायक स्टेशन अधिकारी बदरवास