शिवपुरी। जब-जब पृथ्वी पर असुर और राक्षसों के पाप बढ़ जाते हैं, तब-तब भगवान विष्णु किसी न किसी रूप में पृथ्वी के भार को कम करने के लिए अवतार लेते हैं। यह बात शिवपुरी के मनियर में पहले साप्ताहिक श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन रविवार को को प. रोहित शर्माने कही। उन्होंने इस मौके पर प्रवचन में कृष्ण जन्म कथा का विस्तार से वर्णन किया।
उन्होंने कहा कि कृष्ण हिंदू धर्म में विष्णु के अवतार हैं। सनातन धर्म के अनुसार भगवान विष्णु सर्वपापहारी, पवित्र और समस्त मनुष्यों को मोक्ष प्रदान करने वाले हैं। भगवान विष्णु ने अब तक 23 अवतारों को धारण किया। इन अवतारों में उनके सबसे महत्वपूर्ण अवतार श्रीराम और श्रीकृष्ण के ही माने जाते हैं। श्री कृष्ण का जन्म क्षत्रिय यदुकुल में हुआ था। उस समय चारों ओर पाप हो रहे थे। धर्म नाम की कोई भी चीज नहीं रह गई थी।
इसलिए धर्म को स्थापित करने के लिए श्रीकृष्ण अवतरित हुए थे । उन्होंने जब 'कृष्णा जन्म सुन आई यशोदा मैया दे दो बधाई ... गीत गया तो सारा पंडाल झूम उठा। इस मौके पर कृष्ण की मनभावक झांकिया भी प्रस्तुत की गईं। वहीं संगीत कलाकारों ने भी अपने संगीत की धुनों पर कथा सुनने आए लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
उन्होंने कहा कि कृष्ण हिंदू धर्म में विष्णु के अवतार हैं। सनातन धर्म के अनुसार भगवान विष्णु सर्वपापहारी, पवित्र और समस्त मनुष्यों को मोक्ष प्रदान करने वाले हैं। भगवान विष्णु ने अब तक 23 अवतारों को धारण किया। इन अवतारों में उनके सबसे महत्वपूर्ण अवतार श्रीराम और श्रीकृष्ण के ही माने जाते हैं। श्री कृष्ण का जन्म क्षत्रिय यदुकुल में हुआ था। उस समय चारों ओर पाप हो रहे थे। धर्म नाम की कोई भी चीज नहीं रह गई थी।
इसलिए धर्म को स्थापित करने के लिए श्रीकृष्ण अवतरित हुए थे । उन्होंने जब 'कृष्णा जन्म सुन आई यशोदा मैया दे दो बधाई ... गीत गया तो सारा पंडाल झूम उठा। इस मौके पर कृष्ण की मनभावक झांकिया भी प्रस्तुत की गईं। वहीं संगीत कलाकारों ने भी अपने संगीत की धुनों पर कथा सुनने आए लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया।