शिक्षक बोले: कैसे करे सर्वे, न ट्रेनिंग न मेडिकल उपकरण, अनहोनी में कौन लेगा जिम्मेदारी - Shivpuri News

Bhopal Samachar
शिवपुरी। न तो शिक्षकों को सर्वे कार्य की ट्रेनिंग दी गई और न ही मेडिकल उपकरण दिए गए। यही नहीं घर- घर जाने के लिए मास्क, सेनाटाइजर और पीपीई किट तक नहीं दी गई। ऐसे में शिक्षकों को सीधा आदेश जारी कर उनसे सर्वे कराया जा रहा है। जबकि सरकार ने उन्हें कोरोना योद्धा तक घोषित नहीं किया है। यदि किसी शिक्षक के साथ कोई अनहोनी हो गई तो फिर उसका जिम्मेदार कौन होगा। उसका परिवार तो सड़कों पर आ जाएगा।

दरअसल किल कोरोना अभियान के तहत तकरीबन 300 शिक्षकों की ड्यूटी सर्वे कार्य में लगा दी है। शिक्षकों का आरोप है कि कोई सर्वे कराया जाता है तो पहले उसकी ट्रेनिंग दी जाती है। लेकिन मेडिकल हिस्ट्री जानने के लिए कोई ट्रेनिंग नहीं दी गई। और तो और ना गन मशीन दी गई और ना ही सुरक्षा उपकरण। ऐसे में घर- घर जाने का काम शिक्षकों को सौंप दिया है। और वह इस काम को करने मजबूर भी है, क्योंकि जो शिक्षक सर्वे पर नहीं जाएगा उसके खिलाफ सख्त एक्शन प्रशासन द्वारा लिया जाएगा ।

ऐसे में शिक्षकों के सामने समस्या यह है कि वह कैसे बिना सुरक्षा उपकरणों के ड्यूटी करें। -ना मास्क, ना सैनिटाइजर, और ना ही पी पी ई किट, कब तक सुरक्षित रहेंगे मध्य प्रदेश शिक्षक कांग्रेस के अध्यक्ष राजेंद्र जैन, मध्य प्रदेश शिक्षक संघ के सुशील अग्रवाल,अजमेर सिंह यादव सहित अन्य शिक्षकों ने एसडीएम से मांग की है कि वह शिक्षकों को इस कार्य से अव्वल तो मुक्त करें।

नहीं तो उन्हें मास्क, सेनाटाइजर और पीपीई किट प्रदान करें ताकि वह सुरक्षा के साथ अपनी ड्यूटी कर सके। आमतौर पर कोई भी व्यक्ति जब घर से बाहर निकलता है तो वह लोगों से संपर्क करने के दौरान सुरक्षा के पूरे उपकरण साफ रखता है। ऐसे में अभी हम पर यह उपकरण नहीं कोई शिक्षक कोरोना की चपेट में आया और यदि उसकी मौत हो गई तो फिर उसका परिवार बिखर कर सड़कों पर आ जाएगा।

कोरोना योद्धा घोषित करें सरकार शिक्षक नेताओं ने प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मांग की है कि जिस तरह से उज्जैन में कोरोना ड्यूटी कर रहे शिक्षकों को कोरोना फाइटर बनाया है। वही प्रक्रिया शिवपुरी में घोषित हो ताकि उनके साथ कभी कोई अनहोनी घटित होती है तो कम से कम परिवार को इतना मुआवजा तो मिल जाए कि उसे भूखों मरने की नौबत न आए।