शिवपुरी। शिवपुरी शहर की बढ़ती आबादी के कारण शिवपुरी की नगर पालिका से नगर निगम की ओर बढ रहा है। इसकी प्रक्रिया अब अंतिम चरणों में है। दो बार निरस्त होने के बाद नगर पालिका शिवपुरी ने कलेक्टर रविंद्र चौधरी के माध्यम से संशोधित प्रस्ताव भोपाल स्थित नगरीय निकाय विभाग को भेज दिया है। प्रस्ताव को जल्द ही नगरीय निकाय विभाग से कैबिनेट की बैठक में रखा जाएगा और उसके बाद शिवपुरी नगर निगम बन जाएगा।
प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तीन साल पूर्व शिवपुरी नगर पालिका को नगर निगम बनाने की घोषणा की थी, लेकिन प्रशासनिक उदासीनता के फेर में इस प्रस्ताव में देरी व कुछ कमियां रही, जिससे इस घोषणा पर अभी तक अमल नहीं हो पाया। नगर निगम बनते ही शहर के साथ आसपास की १५ ग्राम पंचायत इसमें शामिल हो जाएंगी।
जानकारी के मुताबिक आबादी व क्षेत्रफल के हिसाब से शिवपुरी नगर पालिका को तो बहुत पहले ही नगर निगम का दर्जा मिल जाना चाहिए था, लेकिन अब यहां के जिम्मेदार जनप्रतिनिधियों व अधिकारियों ने तत्कालीन मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद नगर निगम बनाने के प्रयास शुरू कर दिए हैं। पहले जो दो बार प्रस्ताव भेजे गए, उनमें कुछ ग्राम पंचायतों की सहमति न होने व दूरी अधिक होने के कारण वह प्रस्ताव भोपाल स्तर से निरस्त हो गए।
इसके बाद नगर पालिका ने फिर इस प्रक्रिया को शुरू किया और जिन ग्राम पंचायतों की दूरी अधिक थी, उनको इस प्रस्ताव से हटाया और कुछ और बिंदुओं पर संशोधन किया। जो नया प्रस्ताव तैयार किया गया है, उनमें सभी 15 ग्राम पंचायतों के अलावा हर शासकीय विभाग से सहमति पत्र लिया गया है।
नगर निगम बनते ही विकास कार्यों के लिए मिलेगा अरबों का बजट
अभी वर्तमान में नगर पालिका में 39 वार्ड हैं और नगर निगम बनते ही इन वार्डों की संख्या 50 से 55 के बीच हो जाएगी। इतना ही नहीं अभी नगर पालिका अध्यक्ष व सीएमओ का पद होता है, लेकिन नगर निगम बनते ही जनप्रतिनिधि के रूप में महापौर व सीएमओ की जगह आयुक्त का पद होगा। इतना ही नहीं अभी नगर पालिका का हर साल का बजट करोड़ों में होता है, वह अरबों रुपए में होगा। इससे न केवल शहर के बेहतर विकास कार्य हो पाएंगे, बल्कि जिन १५ ग्राम पंचायतों को जोड़ा जाएगा उनका भी कायाकल्प हो जाएगा। इस बार जो प्रस्ताव बना है, उनमें झांसी रोड स्थित वन क्षेत्र के ग्रामों को हटा दिया गया है।
इन ग्राम पंचायतों को जोड़ा गया है प्रस्ताव में
6़ मई को भोपाल भेजे गए नए प्रस्ताव में १५ ग्राम पंचायतों चंदनपुरा, सिंह निवास, नोहर कलां, ठर्रा, दर्रोनी, ईटमा, पिपरसमा, राजश्री, सतेरिया, बांसखेड़ी, बड़ागांव, रातौर, पड़ोरा सडक़, सेंसई सड़क, बेहटा को जोड़ा गया है। इन ग्राम पंचायतों में कुछ मझरे भी शामिल हैं। बड़ी बात यह है कि अभी नगर पालिका क्षेत्र 86 वर्ग किमी में है जो कि नगर निगम होते ही 241 वर्ग किमी हो जाएगा। नगर निगम की अधिकतम सीमा 18 किमी तक होगी। प्रस्ताव में जो ग्राम पंचायत जोड़ी गई हैं, वह ग्राम पंचायत शहर से 7 किमी से लेकर 16 किमी दूरी तक की है। प्रस्ताव में नगर निगम बनाने के लिए ३ लाख की आबादी भेजी गई है। हालांकि आबादी इससे अधिक हो चुकी है।
प्रक्रिया अंतिम चरण में
हमने इस बार संशोधित प्रस्ताव भोपाल में वरिष्ठ कार्यालय को भेज दिया है। पूरी प्रक्रिया अंतिम चरणों में है। जल्द ही कैबिनेट से यह प्रस्ताव पास हो जाएगा और शिवपुरी को नगर निगम की सौगात मिल जाएगी। प्रस्ताव में शहरी क्षेत्र के अलावा १५ ग्राम पंचायतों को जोड़कर भेजा है।
इशांक धाकड़, सीएमओ नपा