शिवपुरी। शिवपुरी नगर पालिका अध्यक्ष गायत्री शर्मा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए, गत माह 18 पार्षदों द्वारा इस्तीफा सौंपा गया था, परन्तु उक्त इस्तीफे कलेक्टर ने उचित कारण न होने की बात कहते हुए अस्वीकार कर दिए। इसी क्रम में अब वार्ड क्रमांक-21 के निर्दलीय पार्षद राजू गुर्जर ने एक बार फिर से अपना इस्तीफा कलेक्टर को सौंप दिया है। उक्त त्याग पत्र में उन्होंने स्पष्ट रूप से लिखा है कि में जनता पर बोझ नहीं बना रहना चाहता हूँ मेरा इस्तीफा स्वीकार किया जाए।
राजू गुर्जर ने यह इस्तीफा बेहद ही गोपनीय रूप से दिया, जिसकी भनक न तो उनके साथी पार्षदों को लग सकी और न ही किररी अन्य व्यक्ति करे। यह त्याग पत्र 8 अक्टूबर को दिया गया, उनके अनुसार चूंकि कलेक्टर रविंद्र चौधरी और एसडीएम दिनेश शुक्ला कलेक्ट्रेट में उपलब्ध नहीं थे, इस कारण उन्होंने अपने त्यागपत्र की आवक-जावक में दिया है।
त्यागपत्र के पीछे बताए निजी कारण पार्षद राजू गुर्जर ने अपने त्याग पत्र में कलेक्टर कसे संबंधित करते हुए उल्लेख किया है कि वह अपने निजी कारणों से त्यागपत्र देकर पद मुक्त होना चाहते हैं। अतः आपसे निवेदन है कि मुझे पार्षद पद से कार्यमुक्त कर अनुग्रहित करें, जिससे में अपने सार्वजनिक जीवन की जिम्मेदारियों से निवृत हो सकू, क्योंकि मैं निजी जीवन को बाध्यता के कारण अपने वार्ड क्रमांक 21 की जनता की सेवा नहीं कर पा रहा हूँ, जिसके कारण मैं वार्ड की जनता पर बोझ नहीं बना रहना चाहता हूं। अतः मेरे आग्रह को समझते हुए त्यागपत्र को अविलंब स्वीकार करने की कृपा करें।
अन्य पार्षद भी जल्द दे सकते हैं त्यागपत्र
अगर विश्वसनीय सूत्रों की मानें तो जिन पार्षदों ने नपाध्यक्ष की कार्यप्रणाली और कथित भ्रष्टाचार से क्षुब्ध होकर इस्तीफा दिया था। उन्हें पार्टी ने आश्वासन दिया था कि जल्द ही इस मामले में पार्टी निर्णय लेगी, परंतु पार्टी के आश्वासन पर अब पार्षदों का भरोसा उठ गया है। इसी के चलते अन्य पार्षद भी जल्द ही सामूहिक रूप से या फिर प्रथक प्रथक रूप से अपने त्यागपत्र सौंप सकते हैं।
राजू गुर्जर ने यह इस्तीफा बेहद ही गोपनीय रूप से दिया, जिसकी भनक न तो उनके साथी पार्षदों को लग सकी और न ही किररी अन्य व्यक्ति करे। यह त्याग पत्र 8 अक्टूबर को दिया गया, उनके अनुसार चूंकि कलेक्टर रविंद्र चौधरी और एसडीएम दिनेश शुक्ला कलेक्ट्रेट में उपलब्ध नहीं थे, इस कारण उन्होंने अपने त्यागपत्र की आवक-जावक में दिया है।
त्यागपत्र के पीछे बताए निजी कारण पार्षद राजू गुर्जर ने अपने त्याग पत्र में कलेक्टर कसे संबंधित करते हुए उल्लेख किया है कि वह अपने निजी कारणों से त्यागपत्र देकर पद मुक्त होना चाहते हैं। अतः आपसे निवेदन है कि मुझे पार्षद पद से कार्यमुक्त कर अनुग्रहित करें, जिससे में अपने सार्वजनिक जीवन की जिम्मेदारियों से निवृत हो सकू, क्योंकि मैं निजी जीवन को बाध्यता के कारण अपने वार्ड क्रमांक 21 की जनता की सेवा नहीं कर पा रहा हूँ, जिसके कारण मैं वार्ड की जनता पर बोझ नहीं बना रहना चाहता हूं। अतः मेरे आग्रह को समझते हुए त्यागपत्र को अविलंब स्वीकार करने की कृपा करें।
अन्य पार्षद भी जल्द दे सकते हैं त्यागपत्र
अगर विश्वसनीय सूत्रों की मानें तो जिन पार्षदों ने नपाध्यक्ष की कार्यप्रणाली और कथित भ्रष्टाचार से क्षुब्ध होकर इस्तीफा दिया था। उन्हें पार्टी ने आश्वासन दिया था कि जल्द ही इस मामले में पार्टी निर्णय लेगी, परंतु पार्टी के आश्वासन पर अब पार्षदों का भरोसा उठ गया है। इसी के चलते अन्य पार्षद भी जल्द ही सामूहिक रूप से या फिर प्रथक प्रथक रूप से अपने त्यागपत्र सौंप सकते हैं।