शिवपुरी। चांदपाठा झील से साइफन पद्धति के जरिए पानी घसाई फिल्टर प्लांट तक पहुंचाया जाएगा। इस प्रयास से पुराने शिवपुरी क्षेत्र के लगभग 8 वाड़ों वार्डों में में जल आपूर्ति दोबारा शुरू हो सकेगी। घसारई जलाशय का जलस्तर गिरने के कारण पिछले तीन दिनों से यहां से पानी की सप्लाई बाधित हो गई थी।
शिवपुरी की मीडिया ने इस मामले का प्रमुखता से प्रकाशित किया था। समाचार में बताया गया था कि जल स्तर गिरने के कारण घसाई से जल आपूर्ति एक सप्ताह तक बाधित रह सकती है, जिससे 25% आबादी प्रभावित होगी। इस पर नगर पालिका सीएमओ ईशांक धाकड़ ने भी चिंता व्यक्त की थी। स्थिति को सुधारने के लिए नगर पालिका ने वर्ष 2024 में अपनाई गई रणनीति को दोहराते हुए साइफन पद्धति का उपयोग किया है।
इस पद्धति से चांदपाठा झील का पानी पाइपलाइन द्वारा नीचे उतारा गया और एक जलाशय के माध्यम से इसे घसारई फिल्टर प्लांट की लाइन से जोड़ दिया गया है। है। इससे घसारई घसा जलाशय का जलस्तर बढ़ेगा और आगामी 48 घंटों में पुरानी शिवपुरी के प्रभावित वाडों में पानी की सप्लाई शुरू की जा सकेगी। नगर पालिका के इस प्रयास से एक बार फिर शहर की जल आपूर्ति में राहत मिलने की उम्मीद है।
7 साइफन और 2 बॉल (वाल्व) घसारई तक लगाए गए हैं
उपाध्यक्ष गायत्री शर्मा ने बताया कि हमारे इंजीनियर सचिन चौहान ने 2024 में 5 एमएलडी पानी सप्लाई के लिए साइफन पद्धति को अपनाया था। इस पद्धति में 7 साइफन और 2 वाल (वाल्व) घसारई तक लगाए गए हैं। साइफन प्रणाली का कार्य बिना किसी मशीन या पंप के तरल को ऊपर से नीचे की ओर खींचने का होता है। यह पूरी प्रणाली दबाव और गुरुत्वाकर्षण के सिद्धांत पर काम करती है, जिसके कारण पानी एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुंचता है। इस पद्धति का उपयोग करके अब पानी की सप्लाई शुरू की जाएगी और इसके माध्यम से घसाई जलाशय का जलस्तर बढ़ेगा।